199 शतक, 61 हज़ार रन, ये है दुनिया का सबसे धाकड़ बल्लेबाज, सचिन-कोहली भी इसके आगे फेल
834 मैच में 61760 रन. नाबाद 316 का सर्वश्रेष्ठ स्कोर, 50.70 का बेमिसाल औसत. 199 शतक और 50 या उससे ज्यादा का आंकड़ा छुआ 273 बार.
और ये जिन 199 शतकों की बात हो रही है, इसका आखिरी सैकड़ा 51 साल 163 दिन की उम्र में जड़ा गया था. अगर अब भी नहीं समझे तो हम आपको बता देते हैं कि यहां बात हो रही है इंग्लैंड के महान बल्लेबाज जैक हॉब्स की, जिन्होंने प्रथम श्रेणी क्रिकेट में अपने बल्ले से खूब धमाके किए.
उनकी बात करने की वजह ये है कि उन्होंने 28 मई के दिन ही अपने लाजवाब प्रथम श्रेणी करियर का आखिरी और 199वां शतक ठोका था. कब हुआ ये मैच, किसके खिलाफ खेला गया और नतीजा क्या रहा, सब बताते हैं आपको.
दरअसल, 1934 में लंकाशायर के खिलाफ मैच में जैक हॉब्स ने ये कारनामा अंजाम दिया. वो सरे के लिए खेल रहे थे और मुकाबला ओल्ड ट्रैफर्ड में खेला गया था. इस मैच में उन्होंने अपना 199वां शतक लगाया. इसके बाद उनके प्रदर्शन में निरंतरता का अभाव नजर आया और वो पिच पर असहज दिखने लगे. हॉब्स को ये अहसास हो गया था कि अब उनका करियर आखिरी पड़ाव पर है. इसके बाद फरवरी 1935 में उन्होंने संन्यास का ऐलान कर दिया.
हॉब्स के नाम प्रथम श्रेणी क्रिकेट में सबसे ज्यादा रन और सर्वाधिक शतकों का विश्व रिकॉर्ड
प्रथम श्रेणी क्रिकेट में हॉब्स के नाम दो रिकॉर्ड दर्ज हुए. एक सबसे ज्यादा 61760 रन बनाने का और दूसरा 199 शतक ठोकने का. जहां तक इंग्लैंड के लिए उनके अंतरराष्ट्रीय करियर की बात है तो उन्होंने देश के लिए 61 टेस्ट मैच खेले. इनमें उन्होंने 56.94 के बेहतरीन औसत से 102 पारियों में 7 बार नाबाद रहते हुए 5410 रन बनाए. इस दौरान टेस्ट क्रिकेट में उनका सर्वोच्च स्कोर 211 रन रहा.
हॉब्स ने इंग्लैंड के लिए 15 शतक और 28 अर्धशतक भी लगाए. उन्होंने टेस्ट करियर में 8 छक्के जड़े तो 17 कैच भी लिए. हालांकि हॉब्स यदा कदा ही गेंदबाजी किया करते थे. इस दौरान टेस्ट क्रिकेट में उन्होंने अपना एकमात्र विकेट भी हासिल किया. वहीं प्रथम श्रेणी क्रिकेट में उनके नाम 108 रन दर्ज हैं.
संन्यास के बाद हॉब्स ने बतौर पत्रकार अपना काम जारी रखा. इंग्लैंड के इस महान क्रिकेटर का 21 दिसंबर 1963 को निधन हो गया.